समंदर की लड़ाई में भारत के आगे कितनी देर टिक पाएगा पाकिस्तान? जानिए उसके पास कितने वॉरशिप

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भारत और पाकिस्तान के बीच बीते महीने सैन्य टकराव देखने को मिला था. भारत पाकिस्तान के बीच भले ही अब सैन्य टकराव थम हो गया हो लेकिन तनाव खत्म नहीं हुआ है. ऐसे में भारत और पाकिस्तान के बीच समुद्री युद्ध की स्थिति में दोनों देशों की नौसैनिक ताकत की तुलना महत्वपूर्ण है. ग्लोबल फायर पावर इंडेक्स 2025 के अनुसा भारतीय नौसेना एक ‘ब्लू-वॉटर नेवी’ है, जो वैश्विक स्तर पर अभियान चलाने में सक्षम ह. जबकि पाकिस्तानी नौसेना एक ‘ग्रीन-वॉटर नेवी’ है, जो मुख्य रूप से तटीय रक्षा तक सीमित है. चलिए जानते हैं, दोनों देशों के युद्धपोतों और समुद्री ताकत के बारे में.भारतीय नौसेना की ताकतग्लोबल फायरपावर इंडेक्स 2025 के अनुसार, भारत की नौसेना दुनिया में सातवें स्थान पर है, जिसमें कुल 294 नौसैनिक प्लेटफॉर्म हैं. इनमें दो विमानवाहक पोत, आईएनएस विक्रमादित्य और स्वदेशी आईएनएस विक्रांत शामिल हैं, जो भारत को समुद्री युद्ध में रणनीतिक बढ़त देते हैं. इसके अलावा भारत के पास 13 विध्वंसक, 14 फ्रिगेट, 18 कॉर्वेट, और 18 पनडुब्बियां हैं, जिनमें तीन परमाणु-संचालित पनडुब्बियां शामिल हैं. 135 गश्ती नौकाएं भारत की तटीय सुरक्षा को और मजबूत करती हैं. भारतीय नौसेना की ताकत को और बढ़ाने के लिए 62 जहाजों और एक पनडुब्बी का निर्माण जारी है, और 2035 तक नौसेना में 175 जहाजों का बेड़ा तैयार करने का लक्ष्य है.पाकिस्तानी नौसेना की स्थितिदूसरी ओर पाकिस्तानी नौसेना ग्लोबल फायरपावर इंडेक्स में 27वें स्थान पर है और इसे ‘ग्रीन वाटर नेवी’ माना जाता है, जो मुख्य रूप से तटीय क्षेत्रों तक सीमित है. पाकिस्तान के पास कुल 121 युद्धपोत हैं, जिनमें कोई विमानवाहक पोत या विध्वंसक नहीं है. इसके पास 9 फ्रिगेट, 9 कॉर्वेट, 8 पनडुब्बियां (सभी डीजल-इलेक्ट्रिक) और 69 गश्ती नौकाएं हैं. पाकिस्तान अपनी नौसैनिक ताकत बढ़ाने के लिए चीन और तुर्की पर निर्भर है.युद्ध की स्थिति में तुलनाअगर समंदर में युद्ध होता है तो भारत की नौसेना कई मायनों में पाकिस्तान पर भारी पड़ती है. पहला भारत के विमानवाहक पोत और परमाणु पनडुब्बियां उसे लंबी दूरी तक संचालन और हमले की क्षमता प्रदान करते हैं. दूसरा, भारत के पास उन्नत हथियार प्रणालियां जैसे ब्रह्मोस मिसाइलें और P-8I समुद्री निगरानी विमान हैं, जो पाकिस्तान के पास नहीं है. तीसरा भारत का रक्षा बजट (लगभग 79 अरब डॉलर) पाकिस्तान (10.3 अरब डॉलर) से कई गुना अधिक है, जिससे भारत आधुनिक तकनीक और जहाजों में निवेश कर रहा है.  1971 के युद्ध में ऑपरेशन ट्राइडेंट इसका उदाहरण है, जब भारतीय नौसेना ने कराची बंदरगाह पर हमला कर पाकिस्तानी नौसेना को भारी नुकसान पहुंचाया था। आज भी, भारत की समुद्री नाकाबंदी और लंबी दूरी की मिसाइल क्षमताएं पाकिस्तान को घुटने टेकने पर मजबूर कर सकती है.इसे भी पढ़ें-लग्जरी कार से लेकर हनीमून के लिए फॉरेन टूर टिकट तक, किस नौकरी के लिए दहेज का कितना स्टैंडर्ड?