सर्दियों में ठंड के साथ कई हेल्थ चैलेंज भी आते हैं। तापमान गिरने से शरीर का मेटाबॉलिक रेट और ब्लड सर्कुलेशन धीमा पड़ जाता है, जिससे इम्यून सिस्टम पर असर पड़ता है। यही वजह है कि इस मौसम में सर्दी-जुकाम, फ्लू और वायरल संक्रमण तेजी से बढ़ते हैं। ठंडी और सूखी हवा नाक-गले की म्यूकस परत को कमजोर कर देती है, जो शरीर की पहली सुरक्षा लाइन होती है। धूप कम मिलने से विटामिन D का स्तर गिरता है, जिससे इम्यून सेल्स की एक्टिविटी घट जाती है। वहीं कम पानी पीना, स्ट्रेस और नींद की कमी भी डिफेंस सिस्टम को कमजोर करते हैं। इम्यूनिटी मजबूत रखने के लिए डाइट, स्लीप और लाइफस्टाइल में छोटे बदलाव जरूरी हैं। मौसमी फल-सब्जियां, हल्दी-अदरक जैसे नेचुरल बूस्टर, पर्याप्त धूप और रोज थोड़ी फिजिकल एक्टिविटी शरीर को संक्रमणों से बचाने में बड़ी भूमिका निभाते हैं। इसलिए ’जरूरत की खबर’ में आज सर्दियों में इम्यूनिटी की बात करेंगे। साथ ही जानेंगे कि- एक्सपर्ट: डॉ. सुनील राणा, एसोसिएट डायरेक्टर एंड हेड, इंटरनल मेडिसिन, एशियन हॉस्पिटल, फरीदाबाद सवाल: मौसम बदलने से इम्यूनिटी पर क्या असर पड़ता है? जवाब: मौसम बदलने पर शरीर को नए तापमान और वातावरण के हिसाब से खुद को ढालना पड़ता है। इस दौरान इम्यून सिस्टम पर अतिरिक्त दबाव आता है। तापमान गिरने से ब्लड सर्कुलेशन और मेटाबॉलिज्म थोड़ा धीमा हो जाता है, जिससे शरीर का डिफेंस सिस्टम कमजोर पड़ सकता है। साथ ही, ठंड में लोग अधिक समय बंद जगहों पर बिताते हैं, जहां वायरस तेजी से फैलते हैं। यही वजह है कि इस समय सर्दी-जुकाम, फ्लू और खांसी जैसी बीमारियां बढ़ जाती हैं। इसलिए सीजन बदलते वक्त हेल्दी डाइट, नींद और हाइड्रेशन पर ध्यान देना जरूरी है। सवाल: ठंड के मौसम में इम्यूनिटी कमजोर क्यों हो जाती है? जवाब: सर्दियों में ठंडी और सूखी हवा के कारण नाक और गले की नमी कम हो जाती है। ये नमी शरीर की पहली सुरक्षा परत होती है, जो वायरस को रोकती है। इसके सूखने से इंफेक्शन आसानी से हो जाता है। ठंड में धूप भी कम मिलती है, जिससे विटामिन D का लेवल कम हो जाता है। यह इम्यून सेल्स के काम के लिए जरूरी होता है। ये सारी चीजें मिलकर शरीर की रोग प्रतिरोधक क्षमता को कमजोर कर देती हैं। सभी कारण ग्राफिक में देखिए- इन सभी पॉइंट्स को विस्तार से समझिए- ड्राई एयर से म्यूकस कमजोर: ठंडी और सूखी हवा नाक-गले की म्यूकस लेयर को सुखा देती है, जिससे वायरस और बैक्टीरिया आसानी से अंदर प्रवेश कर पाते हैं। विटामिन D की कमी: ठंड में धूप कम मिलने से विटामिन D का स्तर घटता है, जो इम्यून सेल्स को एक्टिव रखने के लिए जरूरी होता है। स्लो ब्लड सर्कुलेशन: ठंड में रक्त वाहिकाएं सिकुड़ जाती हैं, जिससे ऑक्सीजन और न्यूट्रिएंट्स की सप्लाई कम होकर इम्यून रिस्पॉन्स धीमा पड़ता है। डिहाइड्रेशन: सर्दी में प्यास कम लगती है, लेकिन पानी की कमी से टॉक्सिन बाहर नहीं निकलते और इम्यून सेल्स की कार्यक्षमता घटती है। बॉडी क्लॉक डिस्टर्बेंस: छोटे दिन और कम रोशनी सर्केडियन रिदम को बिगाड़ते हैं, जिससे नींद और हॉर्मोनल बैलेंस प्रभावित होता है। खराब वेंटिलेशन: बंद कमरों में रहने से इनडोर पॉल्यूटेंट्स और वायरस बढ़ते हैं, जिससे सांस और इम्यून सिस्टम पर दबाव पड़ता है। कम फिजिकल एक्टिविटी: ठंड में लोग कम चलते-फिरते हैं, जिससे मेटाबॉलिज्म स्लो और इम्यून सेल्स की सर्कुलेशन कमजोर होती है। भारी खाना: सर्दियों में तले-भुने और फैटी फूड्स ज्यादा खाने से पाचन धीमा होता है और इंफ्लेमेशन बढ़ता है। स्ट्रेस और कम नींद: तनाव और नींद की कमी से कॉर्टिसोल हॉर्मोन बढ़ता है, जो इम्यून सिस्टम को सप्रेस करता है। हॉर्मोन असंतुलन: ठंड और कम धूप से मेलाटोनिन और सेरोटोनिन लेवल बदलते हैं, जिससे इम्यून फंक्शन कमजोर पड़ता है। सवाल: सर्दियों में नींद और स्ट्रेस का इम्यूनिटी पर क्या असर पड़ता है? जवाब: नींद की कमी या ज्यादा तनाव शरीर के डिफेंस सिस्टम को डिस्टर्ब कर देते हैं। जब नींद पूरी नहीं होती, तो शरीर कम एंटीबॉडी और इम्यून सेल्स बनाता है। इसी तरह, स्ट्रेस के दौरान कॉर्टिसोल हॉर्मोन बढ़ जाता है, जो इम्यून सिस्टम की एक्टिविटी को कमजोर कर देता है। इसका नतीजा ये होता है कि बार-बार सर्दी-जुकाम या थकान महसूस होना। रोज 7-8 घंटे की नींद और मेडिटेशन या हल्की एक्सरसाइज से स्ट्रेस कम होकर इम्यूनिटी बेहतर होती है। सवाल: घर के अंदर ताजी हवा और वेंटिलेशन इम्यूनिटी के लिए क्यों जरूरी है? जवाब: सर्दियों में लोग दरवाजे-खिड़कियां बंद रख देते हैं ताकि ठंडी हवा न आए, लेकिन ऐसा करने से इनडोर एयर क्वालिटी खराब हो जाती है। अगरबत्ती, हीटर, गैस या मोमबत्ती से निकलने वाला धुआं शरीर में टॉक्सिन्स बढ़ाता है, जिससे सांस और गले के संक्रमण बढ़ते हैं। ताजी हवा आने से कार्बन डाइऑक्साइड, एलर्जन और बैक्टीरिया बाहर निकलते हैं। ऑक्सीजन का स्तर बढ़ता है, जिससे कोशिकाएं बेहतर काम करती हैं और इम्यून सिस्टम एक्टिव रहता है। दिन में कुछ देर के लिए वेंटिलेशन जरूरी है। सवाल: सर्दियों में इम्यूनिटी बढ़ाने के लिए डाइट में क्या शामिल करें? जवाब: ठंड के मौसम में मौसमी फल-सब्जियां जैसे गाजर, चुकंदर, पालक, संतरा, अमरूद और आंवला जरूर खाएं। इनमें विटामिन C, बीटा-कैरोटीन और एंटीऑक्सीडेंट्स होते हैं जो संक्रमण से बचाते हैं। दालें, अंडे, दूध और बादाम प्रोटीन देते हैं, जो इम्यून सेल्स के लिए जरूरी है। हल्दी, अदरक, लहसुन और तुलसी जैसे मसाले प्राकृतिक इम्यून बूस्टर हैं। गुनगुना पानी और हर्बल टी शरीर को डिटॉक्स करती है। कोशिश करें कि प्लेट में रंग-बिरंगे और ताजे फूड्स हों। सवाल: कौन-से फूड्स इम्यूनिटी को नुकसान पहुंचाते हैं या किन फूड्स से बचना चाहिए? जवाब: ज्यादा चीनी, मैदा, फ्राइड स्नैक्स, सॉफ्ट ड्रिंक और प्रोसेस्ड फूड्स इम्यून सिस्टम को कमजोर करते हैं। इनमें मौजूद ट्रांस फैट, रिफाइंड शुगर और प्रिजर्वेटिव्स शरीर में इंफ्लेमेशन बढ़ाते हैं। ऐसे फूड्स गट हेल्थ को बिगाड़ते हैं, जिससे “गुड बैक्टीरिया” कम हो जाते हैं और बॉडी की नेचुरल डिफेंस पावर घट जाती है। कोल्ड ड्रिंक, बिस्किट, चिप्स या रेड मीट जैसी चीजें लिमिट में ही खाएं। इनके बदले घर का बना ताजा खाना और फाइबर वाले फूड्स चुनें। सवाल: कौन से विटामिन इम्युनिटी बढ़ाने के लिए जरूरी हैं और क्यों? जवाब: विटामिन C से भरपूर संतरा, आंवला शरीर में एंटीऑक्सीडेंट बनाते हैं और वायरस से बचाते हैं। विटामिन D के लिए सन लाइट एक्सपोजर जरूरी है। इसकी पूर्ति के लिए अंडा और मछली खा सकते हैं। ये इम्यून सेल्स को एक्टिव रखता है। विटामिन A (गाजर, शकरकंद) शरीर की म्यूकस मेम्ब्रेन को मजबूत करता है, जो वायरस को अंदर जाने से रोकती है। विटामिन E (बादाम, सूरजमुखी के बीज) फ्री रेडिकल्स से सुरक्षा देता है। ये सभी विटामिन्स मिलकर इम्यून सिस्टम को बैलेंस रखते हैं और सीजनल इंफेक्शन से बचाव करते हैं। सवाल: डेली लाइफस्टाइल में कौन-से छोटे बदलाव करके हम इम्यूनिटी को मजबूत कर सकते हैं? जवाब: रोज सुबह सूरज की धूप लें, हल्की एक्सरसाइज करें और पर्याप्त नींद लें। ज्यादा देर तक स्क्रीन देखने या बैठे रहने से बचें। दिन में पर्याप्त पानी पिएं, चाहे ठंड हो। खाने में ताजे और घर के बने फूड्स रखें, साथ में फर्मेंटेड चीजें जैसे दही या इडली। स्ट्रेस कम करने के लिए मेडिटेशन या म्यूजिक सुनें। हाथों की सफाई और ठंड में शरीर को गर्म रखना भी जरूरी है। ये छोटे बदलाव रोज करें तो इम्यूनिटी पूरे सीजन मजबूत रहती है। ……………… ये खबर भी पढ़िए जरूरत की खबर- समय से पहले सफेद हो रहे बाल: हो सकती है जरूरी विटामिन्स, मिनरल्स की कमी, जानें हेल्दी बालों के लिए क्या खाएं विश्व स्वास्थ्य संगठन(WHO) के मुताबिक, दुनिया में हर साल लाखों लोगों को समय से पहले सफेद बालों की समस्या होती है। नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ हेल्थ के मुताबिक, दुनिया के 25% से ज्यादा लोगों के बाल समय से पहले सफेद हो जाते हैं। पूरी खबर पढ़िए...