नेहरू से पहले लाल किले पर किसने फहराया था तिरंगा? हिंदू नहीं, इस कौम से ताल्लुक रखता था यह शख्स

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15 अगस्त को पूरा देश इस बार 79वां स्वतंत्रता दिवस का जश्न मनाएगा. 15 अगस्त 1947 को पहली बार देश के पहले प्रधानमंत्री जवाहर लाल नेहरू ने लाल किले की प्राचीर से तिरंगा झंडा फहराया था. यह परंपरा तभी से चली आ रही है और हर साल इसी दिन प्रधानमंत्री तिरंगा झंडा फहराते हैं. ऐसे में लाल किले से तिरंगा फहराने का सिलसिला पिछले 78 सालों से चला आ रहा है. इस बार पीएम मोदी 12वीं बार लाल किले की प्राचीर से झंडा फहराएंगे. लेकिन क्या आपको पता है कि नेहरू से भी पहले लाल किले पर झंडा फहराया गया था. आखिर किसने वह झंडा फहराया था, चलिए जानें.जरा हटके है शहनवाज खान की कहानी15 अगस्त 1947 को भारत देश आजाद हुआ था. इस आजादी के लिए न जाने कितने वीरों ने शहादत दी और कई क्रांतिवीरों ने अपनी जवानी देश के लिए कुर्बान कर दी थी. कई क्रांतिकारी तो देश को याद हैं, लेकिन कुछ क्रांतिकारी ऐसे भी हैं, जो कि अभी भी गुमनाम हैं, लेकिन देश की आजादी में उनका अहम योगदान रहा है. ऐसे क्रांतिवीर का नाम है मेजर जनरल शाहनवाज खान, जिनके बारे में बहुत ही कम लोग जानते हैं. इनकी कहानी जरा हटके है.शहनवाज खान ने पहली बार लाल किले पर फहराया झंडामेजर जनरल शहनवाज खान के बारे में बहुत कम लोग जानते हैं. वे सुभाष चंद्र बोस के बहुत करीब थे. जानकारी की मानें तो 1943 में शहजवाज खान सुभाष चंद्र बोस के संपर्क में आने के बाद आजाद हिंद फौज में शामिल हो गए थे. लाल किले से ब्रिटिश हुकूमत का झंडा उतारकर भारत का झंडा फहराना उनकी सबसे बड़ी उपलब्धि थी. ये रिश्ते में बॉलीवुड के किंग खान शाहरुख खान के नाना भी लगते थे. शाहरुख खान की मां लातीफ फातिमा को देश के महान सपूत जनरल शाहनवाज खान ने गोद लिया था. इसी कारण वे रिश्ते में शाहरुख के नाना लगते थे. 23 साल केंद्र सरकार में मंत्री रहेशहनवाज खान नेताजी से बहुत प्रभावित थे, इसीलिए उन्होंने आजाद हिंद फौज ज्वाइन की थी. आजादी के बाद वे 1952 से 1971 तक चार बार मेरठ से सांसद रहे थे. लाल किले पर हर शाम में होने वाले लाइट एंड साउंड शो में नेताजी के साथ जनरल शहनवाज की ही आवाज सुनाई देती है. वे 23 साल तक केंद्र सरकार में मंत्री रहे थे. 1952 में वे पार्लियामेंट सेक्रेट्री, डिप्टी रेलवे मिनिस्टर बने थे. लंबे वक्त तक शहनवाज खान ने कई मंत्रालय संभाले थे और उनके नेतृत्व में देश ने खूब तरक्की की थी.यह भी पढ़ें: दाऊद से लेकर टाइगर मेमन तक, जानें भारत से कब भागा कौन-सा आतंकी? अब कहां हैं ये दहशतगर्द