अगर आप विदेश में एमबीए की पढ़ाई करने का सपना देख रहे हैं, तो अमेरिका इस दिशा में सबसे लोकप्रिय और पसंदीदा देश माना जाता है. खासतौर पर भारतीय छात्रों के बीच अमेरिका की बिजनेस यूनिवर्सिटी को लेकर काफी आकर्षण है. अच्छी शिक्षा, बेहतरीन नेटवर्क और शानदार करियर अवसरों के लिए ये यूनिवर्सिटीज दुनियाभर में मशहूर हैं. लेकिन साथ ही इनकी फीस भी काफी अधिक होती है, इसलिए सही जानकारी होना बेहद जरूरी है.हाल ही में जारी QS ग्लोबल MBA रैंकिंग 2025 के अनुसार अमेरिका की कई यूनिवर्सिटीज़ टॉप 10 में शामिल हैं. इन यूनिवर्सिटी में पढ़ाई की सालाना फीस करीब 65 लाख से 77 लाख रुपये के बीच होती है. सबसे ज्यादा चर्चा में रहने वाले संस्थानों में स्टेनफोर्ड, हार्वर्ड, वॉर्टन स्कूल, एमआईटी स्लोन और कोलंबिया बिजनेस स्कूल शामिल हैं. इन कॉलेजों में पढ़ाई के साथ-साथ इंटरनेशनल नेटवर्क और हाई-सैलरी प्लेसमेंट का मौका भी मिलता है.हालांकि फीस ही एकमात्र खर्च नहीं होता. अमेरिका जैसे देश में रहने, खाने, किताबों, यात्रा और बीमा का खर्च भी काफी होता है. आमतौर पर वहां रहने का खर्च सालाना 20 से 30 लाख रुपये तक होता है. इस तरह कुल मिलाकर एक साल में एमबीए करने पर 1 करोड़ रुपये तक का खर्च आ सकता है.अमेरिका की टॉप MBA यूनिवर्सिटी अब सवाल उठता है कि क्या हर छात्र इतना खर्च वहन कर सकता है? इसका जवाब है - नहीं. लेकिन निराश होने की जरूरत नहीं है क्योंकि अमेरिका में कई सरकारी और कम फीस वाली यूनिवर्सिटी भी हैं जो कम बजट में MBA की सुविधा देती हैं. इन संस्थानों में से कुछ हैं - यूनिवर्सिटी ऑफ जॉर्जिया, टेक्सास स्टेट यूनिवर्सिटी, यूनिवर्सिटी ऑफ अलबामा जैसे कॉलेज, जहां MBA की कुल फीस 10 से 15 लाख रुपये तक हो सकती है.इसके अलावा कुछ संस्थान GMAT स्कोर जरूरी नहीं मानते और कई विश्वविद्यालय अनुभव के आधार पर भी प्रवेश देते हैं. छात्र स्कॉलरशिप, असिस्टेंटशिप और अन्य आर्थिक सहायता के लिए आवेदन कर सकते हैं जिससे उनकी लागत और कम हो जाती है.MBA में प्रवेश के लिए सामान्यत कुछ दस्तावेज अनिवार्य होते हैं जैसे स्नातक की डिग्री, अंग्रेजी भाषा परीक्षा (IELTS या TOEFL), SOP (स्टेटमेंट ऑफ पर्पस), अनुशंसा पत्र और रिज्यूमे. इसलिए आवेदन से पहले इन सभी दस्तावेजों को तैयार रखना जरूरी है.ये भी पढ़ें: एक दिन में कितना कमा लेते हैं Apple के नए COO सबीह खान, सैलरी जानकर उड़ जाएंगे आपके होश