'120 बहादुर' में सभी 120 सैनिकों को मिलेगा सम्मान, निर्माताओं ने दिल्ली हाई कोर्ट में दिया आश्वासन

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फिल्म 120 बहादुर के निर्माताओं ने दिल्ली हाई कोर्ट को बताया कि वे फिल्म के अंत में 1962 के भारत-चीन युद्ध के दौरान रेजांग ला की लड़ाई में शहीद हुए कुमाऊं रेजिमेंट के सभी 120 सैनिकों को श्रद्धांजलि देंगे. निर्माताओं की ओर से पेश हुए एक्सेल एंटरटेनमेंट के वकील ने कोर्ट को भरोसा दिलाया कि सभी सैनिकों के नाम क्रेडिट्स में शामिल किए जाएंगे.दिल्ली हाई कोर्ट में यादव सैनिकों ने जताई थी आपत्ति दिल्ली हाई कोर्ट में यह भरोसा जस्टिस प्रतिभा एम. सिंह और जस्टिस शैल जैन की बेंच के सामने उस दौरान दिया गया जब कोर्ट एक जनहित याचिका पर सुनवाई कर रहा था. याचिकाकर्ताओं की मांग थी कि फिल्म में यादव सैनिकों के योगदान को उचित सम्मान दिया जाए क्योंकि रेजांग ला की लड़ाई में 120 में से 113 सैनिक अहिर समुदाय से थे. कोर्ट ने निर्माताओं की बात को रिकॉर्ड पर लेते हुए निर्देश दिया कि ओटीटी रिलीज के दौरान भी सैनिकों को इसी तरह से क्रेडिट दिया जाए. हालांकि फिल्म की रिलीज तारीख 21 नवंबर नजदीक होने के कारण कोर्ट ने साफ कर दिया कि इस वक्त फिल्म का नाम बदलना संभव नहीं है. याचिका में फिल्म का नाम बदलकर 120 वीर अहिर करने की मांग की गई थी.संयुक्त अहिर रेजिमेंट मोर्चा ने दायर की थी अर्जी दिल्ली हाई कोर्ट में यह याचिका संयुक्त अहिर रेजिमेंट मोर्चा नामक संगठन ने दायर की थी. उनका आरोप था कि फिल्म में ऐतिहासिक तथ्यों को तोड़-मरोड़कर केवल मेजर शैतान सिंह फिल्म में भाटी नाम से दिखाया गया किरदार को ही नायक के रूप में पेश किया गया है जिससे अन्य बहादुर सैनिकों का सामूहिक योगदान दब जाता है. याचिकाकर्ताओं ने सेंसर बोर्ड का प्रमाणपत्र रद्द करने, फिल्म का नाम बदलने और सभी सैनिकों के नाम शामिल करने की मांग की थी. फिलहाल दिल्ली हाई कोर्ट ने फिल्म निर्माताओं के आश्वासन के बाद याचिका का निपटारा कर दिया.